आज संविधान दिवस पर संसद में होने वाले समारोह का कांग्रेस ने किया बहिष्कार

आज संविधान दिवस है. दरसअल देश आजाद होने के बाद देश को सुचारु रूप से चलाने के लिए संविधान बनाए गया था, जिसको बनाने में 2 वर्ष 11 माह 18 दिन लगे थे और फिर 26 नवम्बर 1949 को पूरा कर राष्ट्र को समर्पित किया। आज 26 नवंबर को संविधान दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद भवन में एक विशेष सभा को संबोधित करेंगे।
सेंट्रल हाल में होने वाली इस विशिष्ट सभा की अध्यक्षता राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद करेंगे। इसके बाद पीएम मोदी विज्ञान भवन में दो दिवसीय संविधान दिवस समारोह की भी शुरुआत करेंगे। वही, कांग्रेस समेत अन्य पार्टी के सदस्य कार्यक्रम में हिस्सा नहीं लेंगे। इस समारोह का बहिष्कार भी किया जा रहा है. कांग्रेस और कई अन्य विपक्षी दलों ने संसद के केंद्रीय कक्ष में आज ‘संविधान दिवस’ (Samvidhan Diwas Samaroh) पर आयोजित होने वाले कार्यक्रम का बहिष्कार करने का फैसला किया है. कांग्रेस ने इस आयोजन का बहिष्कार करने का फैसला किया है और कई अन्य विपक्षी दलों ने एकजुटता में हाथ मिलाया है
जानकारी के अनुसार- बहिष्कार में उसके साथ शामिल होने के लिए कांग्रेस कई विपक्षी दलों के नेताओं के संपर्क में थी. द्रमुक, शिवसेना, आरएसपी, राकांपा, सपा, टीएमसी, भाकपा, माकपा, राजद, झामुमो और आईयूएमएल के भी बहिष्कार में शामिल हैं. भाकपा, माकपा, राजद, द्रमुक और तृणमूल कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने पुष्टि की है कि वे उस कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे जो भारत की आजादी के 75 साल पूरे होने पर सरकार के ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ कार्यक्रम का हिस्सा है.
पिछले साल भी कांग्रेस ने इस कार्यक्रम का बहिष्कार किया था। पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने कहा, जब सरकार संविधान पर निरंतर हमले कर रही है और संवैधानिक संस्थाओं को कमजोर कर रही है तो फिर ऐसे कार्यक्रम का दिखावा क्या करना है। हम संविधान पर हमले करने वाली सरकार के ऐसे कार्यक्रम में शामिल नहीं हो सकते।
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