ईरान में हिजाब के खिलाफ उग्र हुआ प्रदर्शन, 3 की मौत, 220 घायल

ईरान में हिजाब के खिलाफ जारी प्रदर्शन और हिंसक हो गया. ईरानी महिला महसा अमिनी की मौत के बाद पूरे देश में विरोध प्रदर्शन भड़क उठे. महिलाएं सांकेतिक तौर पर अपने हिजाब को जलाकर और बालों को काटकर सरकार का विरोध जता रही हैं. ईरान के कुर्दिस्तान से शुरू हुए ये विरोध प्रदर्शन देखते ही देखते राजधानी तेहरान समेत तमाम बड़े शहरों में शुरू हो गए. विरोध प्रदर्शनों के दौरान तीन प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई. कुर्दिस्तान में 221 प्रदर्शनकारी घायल हुए हैं. वहीं 250 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है. UN समेत कई देशों ने ईरान के सुरक्षाबलों द्वारा प्रदर्शनकारियों पर बल के प्रयोग की निंदा की है.
ईरान में महसा अमिनी की पुलिस कस्टडी में मौत हो गई थी. पुलिस ने उन्हें महिलाओं के लिए ईरान के सख्त ड्रेस कोड के उल्लंघन के मामले में गिरफ्तार किया था. पुलिस का दावा है कि महसा की मौत हार्ट अटैक से हुई. जबकि अमिनी के परिवार का दावा है कि महसा बिल्कुल स्वस्थ थीं. पुलिस हिरासत में ही कुछ ऐसा हुआ, जिससे उसकी मौत हो गई.
महसा की मौत के बाद ईरान में बवाल तेज हो गया. ईरान में हिजाब पहनने के सख्त कानून के बावजूद महिलाएं हिजाब उतारकर और कई जगहों पर हिजाब जलाकर अपना विरोध जता रही हैं. ईरान प्रशासन की ओर से भी तीन लोगों की प्रदर्शन के दौरान मौत की पुष्टि की गई है. ईरान में महिलाएं लगातार चौथे दिन सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने उतरीं. इसे लेकर सोशल मीडिया पर तमाम वीडियो और फोटो वायरल हो रहे हैं. ईरान में 2019 के बाद ये सबसे बड़े विरोध प्रदर्शन बताए जा रहे हैं, उस वक्त जनता ईंधन की कीमतों को लेकर सड़क पर उतरी थी. लेकिन इस बार बड़ी संख्या में महिलाएं शरिया कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रही हैं. महिला न सिर्फ विरोध में हिजाब जला रही हैं, बल्कि अपने बाल भी काट कर विरोध जता रही हैं.
ईरान के उत्तरी कुर्दिस्तान प्रांत में सबसे पहले विरोध प्रदर्शन हुए थे. अमिनी यही की रहने वाली थी. लेकिन देखते ही देखते पूरे ईरान में प्रदर्शन होने लगे हैं. यहां के गवर्नर ने तीन प्रदर्शनकारियों की मौत की पुष्टि की है. हालांकि, प्रदर्शनकारियों का कहना है कि सुरक्षा बल लगातार फायरिंग कर रहे हैं, इसके चलते तीन लोगों की मौत हो गई, जबकि कई घायल हुए हैं. न्यूयॉर्क के ह्यूमन राइट्स वॉच ने कहा कि सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो और फोटो से पता चलता है कि अधिकारी प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस का इस्तेमाल कर रहे हैं और कुर्दिस्तान प्रांत में घातक बल का इस्तेमाल हुआ है.
ईरान एक इस्लामिक देश है, जो शरिया कानून पर चलता है. ईरान में सात साल से ज्यादा की किसी भी लड़की को अपने बालों को कवर करने के बाद ही बाहर निकलने की अनुमति है. साथ ही इसी उम्र के बाद से लड़कियों को लंबे और ढीले कपड़े पहनने के लिए कहा जाता है. बीते पांच जुलाई को भी ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी ने हिजाब कानून लागू किया था, जो एक तरह की नई पाबंदी महिला और लड़कियों पर ईरान में लगाई गई है. अगर कोई इन नियमों को तोड़ता है तो उन्हें कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ता है. नियम तोड़ने वाले पर कई बार जुर्माना तो कई बार गिरफ्तारी भी कर ली जाती है.
जिनेवा में UN ने कहा कि मानवाधिकार उच्चायुक्त नादा अल-नशिफ ने अमिनी की मौत और विरोध प्रदर्शनों के खिलाफ सुरक्षा बलों की हिंसक प्रतिक्रिया पर चिंता व्यक्त की है. उन्होंने कहा कि अमिनी की मौत की स्वतंत्र जांच होनी चाहिए.
Demonstrations against hijab in Iran, 3 killed, 220 injured