पीएम का संदेश, आत्मनिर्भर बनेगा देश
कोरोना संक्रमण और लॉकडाउन के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार की रात राष्ट्र को संबोधित किया । 54 दिनों के लॉकडाउन के दौरान ये उनका पांचवां संबोधन है। अपने भाषण में जहां प्रधानमंत्री ने आत्मनिर्भरता पर जोर दिया, वहीं अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए 20 लाख करोड़ रुपये के आर्थिक पैकेज का भी ऐलान किया। लॉकडाउन 4.0 को लेकर सस्पेंस बना रहा, क्योंकि प्रधानमंत्री ने नये चरण के बारे में कुछ संकेत भर दिये और बताया कि 18 मई से पहले तक इस बारे में पूरी जानकारी दे दी जाएगी।
पीएम के संबोधन की 10 अहम बातें
- एक राष्ट्र के रूप में आज हम एक बहुत ही अहम मोड़ पर खड़े हैं। इतनी बड़ी आपदा भारत के लिए एक संदेश लेकर आयी है, एक अवसर लेकर आयी है। विश्व की आज की स्थिति हमें सिखाती है कि इसका मार्ग एक ही है – आत्मनिर्भर भारत।
- जब कोरोना संकट शुरु हुआ तब भारत में एक भी पीपीई किट नहीं बनती थी। एन-95 मास्क का भारत में नाममात्र उत्पादन होता था। आज स्थिति ये है कि भारत में ही हर रोज 2 लाख पीपीई और 2 लाख एन-95 मास्क बनाए जा रहे हैं।
- कोरोना संकट का सामना करते हुए, नए संकल्प के साथ मैं आज एक विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा कर रहा हूं। ये आर्थिक पैकेज, ‘आत्मनिर्भर भारत अभियान’ की अहम कड़ी के तौर पर काम करेगा।
- हाल में कोरोना संकट से जुड़ी आर्थिक घोषणाओं, रिजर्व बैंक के फैसले और आज के आर्थिक पैकेज को मिला दें तो ये करीब 20 लाख करोड़ रुपये का है। ये पैकेज भारत की GDP का करीब-करीब 10 प्रतिशत है।
- देश के विभिन्न वर्गों को, आर्थिक व्यवस्था की कड़ियों को, 20 लाख करोड़ रुपये का सपोर्ट मिलेगा। 20 लाख करोड़ रुपये का ये पैकेज, 2020 में देश की विकास यात्रा को आत्मनिर्भर भारत अभियान को एक नयी गति देगा।
- इस पैकेज में Land, Labour, Liquidity और Laws सभी पर बल दिया गया है। ये आर्थिक पैकेज हमारे कुटीर उद्योग, गृह उद्योग, हमारे लघु-मंझोले उद्योग, हमारे MSME के लिए है।
- ये आर्थिक पैकेज देश के उस श्रमिक के लिए है. देश के उस किसान के लिए है, जो हर स्थिति, हर मौसम में देशवासियों के लिए दिन-रात परिश्रम कर रहा है। ये आर्थिक पैकेज हमारे देश के मध्यम वर्ग के लिए है, जो ईमानदारी से टैक्स देता है।
- जिंदगी और मौत की लड़ाई लड़ रही दुनिया में आज भारत की दवाइयां एक नयी आशा लेकर पहुंचती हैं। इन कदमों से दुनिया भर में भारत की भूरि-भूरि प्रशंसा होती है, तो हर भारतीय गर्व करता है।
- भारत की संस्कृति, भारत के संस्कार, उस आत्मनिर्भरता की बात करते हैं, जिसकी आत्मा वसुधैव कुटुंबकम है। भारत जब आत्मनिर्भरता की बात करता है, तो आत्मकेंद्रित व्यवस्था की वकालत नहीं करता। भारत की आत्मनिर्भरता में संसार के सुख, सहयोग और शांति की चिंता होती है.
- लॉकडाउन का अगला चरण 18 मई से शुरु होगा, लेकिन यह अब तक के लॉकडाउन से काफी अलग होगा। अगले लॉकडाउन में सोशल डिस्टेंशिंग का पालन करते हुए कामकाज आगे बढ़ेगा। इसके सभी नियम और गाइडलाइंस 18 मई से पहले जारी किए जाएंगे।