पीएम की बात, सीएम के साथ!

कोरोना महामारी को लेकर पीएम मोदी ने सोमवार को एक बार फिर राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों के साथ वीडियो कांफ्रेन्सिंग के जरिए बैठक की। करीब तीन घंटे चली बैठक में महामारी की मौजूदा स्थिति और इससे निपटने के लिए आगे की रणनीति और योजनाओं पर विस्तार से चर्चा हुई। प्रधानमंत्री ने एक बार फिर जोर देकर कहा कि कोरोना महामारी से निपटने के लिए लॉकडाउन का कदम कारगर रहा है, लेकिन देश की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए सभी राज्यों को इससे बाहर निकलने की चरणबद्ध योजना पर काम शुरू करना चाहिए। इस बैठक में नौ राज्यों के मुख्यमंत्रियों से बातचीत हुई, और इनमें झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन भी शामिल थे। ।
पीएम-सीएम की बैठक की 10 अहम बातें
- लॉकडाउन के बेहद सकारात्मक परिणाम मिले हैं और समय रहते उठाए गए इस कदम से हजारों लोगों की जान बचाई गई है।
- हमारी स्थिति अन्य देशों की तुलना में कहीं अच्छी है, लेकिन वायरस का खतरा लंबे समय तक रहने वाला है, इसलिए सतर्कता बरतना जरूरी है।
- सभी राज्य हॉटस्पॉट क्षेत्रों में पूर्णबंदी से संबंधित दिशा निदेर्शों का सख्ती से पालन करें। राज्यों का सारा ध्यान रेड जोन को ओरेंज जोन और फिर उसे ग्रीन जोन में बदलने पर होना चाहिए।
- हम सभी को कोरोना से निपटने के साथ-साथ अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के बारे में भी योजना बनानी होगी।
- लेकिन अर्थव्यवस्था को दुरुस्त करने के उपायों के साथ-साथ दो गज दूरी के मंत्र यानी सामाजिक दूरी के नियम को मानना होगा।
- ऐसे क्षेत्र जहां कोरोना महामारी के मामले नहीं हैं और स्थिति पूरी तरह नियंत्रण में हैं, वहां ठप पड़ी आर्थिक गतिविधियों को शुरू करने की दिशा में कदम उठाये जायें।
- कोरोना का खतरा इतनी आसानी से समाप्त नहीं होने वाला है, इसलिए हमें सामाजिक दूरी तथा मास्क को अपनी जीवन शैली का हिस्सा बनाना होगा।
- सभी राज्य आगे की रणनीति बनाते समय मौसम में आ रहे बदलाव, गर्मी तथा मानसून और इनसे होने वाली बीमारियों को भी ध्यान में रखें।
- पीएम ने प्रौद्योगिकी के महत्व पर बल देने के साथ ही नये सुधारों को अपनाने की भी बात कही। विश्वविद्यालयों से जुड़े लोगों का आह्वान करते हुए उन्होंने कहा कि देश में अनुसंधान और नवाचार को मजबूत किया जाना चाहिए।
- कोरोना से देश की लड़ाई को मजबूती प्रदान करने के लिए उन्होंने देशवासियों से आरोग्य सेतु ऐप को डाउनलोड करने का भी आग्रह किया।

मिली जानकारी के मुताबिक, बैठक में तीन मई के बाद लॉकडाउन हटाने को लेकर कोई सहमति नहीं बन सकी, लेकिन इस बात पर सभी सहमत थे कि ऐसे क्षेत्र जहां कोरोना महामारी के मामले नहीं हैं, वहां आर्थिक गतिविधियों को शुरू करने की दिशा में कदम उठाये जायें। बैठक में नौ राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने अपनी बात रखी और इनमें से चार ने पूर्णबंदी की अवधि तीन मई से भी आगे बढ़ाने का सुझाव दिया। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तथा पुदुचेरी के मुख्यमंत्री वी नारायणसामी ने पत्रकारों से बातचीत में बताया कि बीजेपी शासित राज्यों के लगभग सभी मुख्यमंत्रियों ने लॉकडाउन बढ़ाने की इच्छा जाहिर की जबकि कांग्रेस तथा कुछ अन्य दलों के मुख्यमंत्रियों ने केंद्र से आर्थिक पैकेज की मांग की। मुख्यमंत्रियों ने केंद्र से जीएसटी तथा अन्य मदों की बकाया राशि का भी तत्काल भुगतान करने आग्रह किया।