Russia-Ukraine War पर UNSC ने फिर विशेष सत्र, इस बार भी भारत-चीन ने बनाई दूरी
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नई दिल्ली – भारत एक बार फिर यूक्रेन संकट पर विशेष आपात सत्र बुलाए जाने के लिए यूएनएससी में मतदान से दूर रहा है। यूएई और चीन ने भी वोटिंग से परहेज किया है। हालांकि, 11 वोट के साथ मामले को संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) में भेजने का फैसला किया गया है। 1982 के बाद पहली बार UNSC ने विशेष आपातकालीन सत्र के लिए UNGA को मामला भेजा है। संयुक्त राष्ट्र महासभा के आपात विशेष सत्र में अब यूक्रेन संकट पर चर्चा होगी। दिलचस्प है कि 1950 से अब तक महासभा के ऐसे केवल 10 सत्र बुलाए किये गए हैं।
यूएन सिक्योरिटी काउंसिल में अमेरिका की प्रतिनिधि ने कहा कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूस के परमाणु बलों को हाई अलर्ट पर रखा है. जबकि रूस ने बिना परमाणु हथियार वाले यूक्रेन में हमले जारी रखे हैं. अमेरिकी प्रतिनिधि ने कहा, हम एक ऐसे प्रस्ताव पर मतदान करेंगे जो रूस को उसके कामों और उल्लंघनों के लिए जिम्मेदार ठहराएगा. पूरे यूक्रेन में रॉकेटों बरसाए जा रहे हैं. रूस यूक्रेन पर झूठे आरोप लगा रहा है.
यूएन में भारत के स्थायी प्रतिनिधि, टीएस तिरुमूर्ति ने यूक्रेन पर यूएनएससी की बैठक में कहा- हम हिंसा और दुश्मनी को तुरंत खत्म करने की अपनी बात को दोहराते हैं। हमारे प्रधान मंत्री ने रूसी संघ और यूक्रेन के नेतृत्व के साथ अपनी हालिया बातचीत में भी इस पर जोर दिया है। उन्होंने कहा कि हम बेलारूस सीमा पर बातचीत करने के लिए दोनों पक्षों की तरफ से आज की गई घोषणा का स्वागत करते हैं। हम बड़ी संख्या में भारतीय छात्रों सहित भारतीय नागरिकों की सुरक्षा और सुरक्षा के बारे में गहराई से चिंतित हैं, जो अभी भी यूक्रेन में फंसे हुए हैं। सीमा पार की जटिल और अनिश्चित स्थिति से हमे यूक्रेन से भारतीयों को निकालने में काफी दिक्कत हुई है। तमाम परिस्थितियों को देखते हुए हमने यूक्रेन मामले पर वोटिंग से परहेज करने का निर्णय लिया है।
UNSC again special session on Russia-Ukraine war, this time also India-China distance